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चकराता भाजपा मे सबकुछ सामान्य नहीं, कडकडाती ठंड और बारिश में मधू चौहान का हुआ भव्य स्वागत।

ब्यूरो रिपोर्ट

चुनाव के बाद पहली बार चकराता पहुंची जिला पंचायत अध्यक्ष मधू चौहान का कार्यकर्ताओं ने फूल मालाओं और नारों के साथ जोरदार स्वागत किया। बारिश होने के बाद भी कार्यकर्ता अपनी नेत्री की एक झलक पाने के लिए बेताब थे।

चकराता की कडकडाती ठंड मे उमडा ये जन सैलाब अपनी नेत्री के स्वागत मे ऐसे पलकें फावड़े बिछाएं थे मानों सदियां बीत गई हो अपनी नेत्री से मुलाकात किये हुए।

बारिश और चकराता की ठंड के बाबजूद भी इतनी तादाद मे लोग अपनी नेत्री के स्वागत के लिए पहुंचे थे तो भाजपा के शीर्ष नेतृत्व के उस फैसले पर भी दोबारा सवाल उठना लाजिमी है कि अगर चकराता मे भाजपा का टिकट मधू चौहान के पास होता तो चकराता मे कमल खिलाने का सपना शायद इस बार पार्टी का पूरा हो चुका होता।

मधू चौहान भी लंबे समय के बाद चकराता पहुंची और अपने कार्यकताओं का जोश देखकर वह भीकार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए भावुक भी हो गई।


मगर चकराता मे भाजपा कार्यकर्ताओं मे सबकुछ ठीकठाक नहीं है। वैसे तो ये सम्मान समारोह मधू चौहान के पंडित दीनदयाल उपाध्याय पंचायत सशक्तिकरण पुरस्कार जिला पंचायत देहरादून को दिये जाने पर उनके स्वागत मे रखा गया था मगर चकराता मंडल अध्यक्ष मोनिका अग्रवाल का कार्यक्रम से नदारद रहना अपने आप मे कहीं सारे सवाल खडे करता है। सोशल मीडिया पर भी चकराता मे भाजपा कार्यकर्ताओं की आपसी नोकझोंक ये साबित करने में लगी रहती है की दरअसल असली भाजपा कार्यकर्ता है कौन?
इस बार चकराता से भाजपा प्रत्याशी रहे रामशरण नौटियाल ने भी मधू चौहान के स्वागत समारोह और उनके भावुकता पर तंज कसा है। उन्होंने कहा है कि जो लोग आज चकराता मे खुद को भाजपा के सबसे बड़े हितैषी बताकर दुबले पतले हुए जा रहे है वो लोग तब भाजपा के शीर्ष नेतृत्व का अपमान कर रहे थे जब उन्हें प्रदेश से लेकर राष्ट्रीय नेतृत्व तक को चकराता में भाजपा का प्रचार करने से साफ मना कर दिया था और आज अपने उद्धबोधन मे नेत्री जी जिन विधानसभा प्रभारी का जिक्र करके उन्हें पार्टी के प्रति वफादारी का ज्ञान बांट रही है विधानसभा चुनाव में उनकी पार्टी के प्रति वहीं वफादारी कहाँ चली गई थी। रामशरण नौटियाल से शिकायत हो सकती है मगर भाजपा से क्यों?
जब मीडिया ने उनसें सवाल किया कि 2017 के चुनाव में आप भी तो मधू चौहान के साथ खड़े नहीं हुए थे तो उन्होंने कहा कि उस चुनाव में जब ये लोग मेरे पास मेरा समर्थन मांगने आये नहीं तो मैं कैसे इनके लिए चुनाव प्रचार करता। जबकि मीडिया साक्षी है की मैं और मेरा बेटा जुबिन इस चुनाव में एक बार नहीं कई बार चौहान जी और मैडम के घर पर उनसे आग्रह करने गए कि मैडम को चाहे एक दिन के खातिर चुनाव प्रचार में भेज दो मगर मधू जी एक दिन भी चकराता में चुनाव प्रचार करने नहीं पहुंची इससें सहज ही अंदाजा लगाया जा सकता है कि ये लोग पार्टी के प्रति कितने वफादार और निष्ठावान है।

 

उन्होंने ये भी बताया कि जो होता है ठीक ही होता है चौहान दंपति चकराता मे इस मुगालते मे थे कि यहां भाजपा पार्टी का सिर्फ 5000 वोट है बाकी सारा वोट हमारा नीजी वोट बैंक है मगर भाजपा ने इस बार 27000 से अधिक वोट लाकर उनके इस मुगालते की भी हवा निकाल दी है।

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